tag:blogger.com,1999:blog-968593042449838987.post6189836324979371203..comments2024-03-06T21:57:45.767+05:30Comments on एक भारतीय की डायरी: आसपास ही है मीडिया की गलाजत का निदानअनिल रघुराजhttp://www.blogger.com/profile/07237219200717715047noreply@blogger.comBlogger1125tag:blogger.com,1999:blog-968593042449838987.post-11594655504500799422007-08-02T11:36:00.000+05:302007-08-02T11:36:00.000+05:30अनिल जी बड़ा सवाल- खबर क्या है? वह जिसे टीवी दिखात...अनिल जी बड़ा सवाल- खबर क्या है? वह जिसे टीवी दिखाता है या फिर वह जिसे टीवी नहीं दिखाता है. असल में कंपनीराज के कुछ तय उपकरण हैं जिसके जरिए वह अपना साम्राज्य स्थापित कर रहा है. मीडिया भी उसका उपकरण बनकर रह गया है. कुछ लोग अपवाद हो सकते हैं. लेकिन आम मान्यता यही है कि टीवी-अखबार सब कंपनियों की चाकरी करने में लगे हुए हैं क्योंकि उनकी गर्भनाल यानि विज्ञापन वहीं से निकलते हैं.<BR/>मीडिया के रूख पर पर्याप्त बहस की जरूरत है. ब्लाग इसके लिए बेहतर माध्यम हैं.Sanjay Tiwarihttps://www.blogger.com/profile/13133958816717392537noreply@blogger.com